कोरोना संक्रमण काल में,अस्थमा के मरीजों को रखना होगा विशेष ध्यान
दिन ब दिन बढ़ते कोरोना संक्रमण को देखते हुए,अस्थमा के पेशेंट्स को भी सावधानी बरतने की चेतावनी दी जा रही है।दरअसल कई डॉक्टरों का मानना है के कोरोना और अस्थमा दोनों ही बीमारी के लक्षण लगभग एक जैसे है दोनों ही इंसान के फेफड़ों को प्रभावित करते है । जिस किसी भी मरीज को अस्थमा है या उसकी इस संबंधित कोई हिस्ट्री रही है तो इस कोरोना काल में उसे अपने आपका विशेष ध्यान रखना होगा।
छाती रोग विशेषज्ञ डॉक्टर आकाश बल्कि का कहना है के कोरोना और अस्थमा दोनों में ही इंसान के लंग्स प्रभावित होते है हालाकि पूरी तरह दोनों बीमारी एक जैसी नहीं है परन्तु फिलहाल यह अस्थमा का सीजन नहीं है आम तौर पर अशुद्ध वातावरण , डस्ट या प्रदूषण और ठंड के मौसम में अस्थमा का ज्यादा प्रभाव देखने को मिलता है।लेकिन कोरोना संक्रमण के बीच अस्थमा के मरीज़ को अपना विशेष ध्यान रखना आवश्यक है।
वहीं श्वसन रोग विशेषज्ञ डॉक्टर राजेश स्वर्णकार का कहना है के इस समय अस्थमा के पेशेंट्स को अपना ख्याल रखना बहुत जरूरी है।अपने डॉक्टर से सलाह ले कर जरूरी उपचार रखना और इनहेलर को भी बंद नहीं करना चाहिए।भारत में कई ज्यादा अस्थमा के मामले आते हैं ऐसे में तुरंत महत्वपूर्ण कदम उठाना और अपना इलाज कराना जरूरी है।
श्वसन रोग विशेषज्ञ डॉक्टर अशोक अरबट का कहना है इन दोनों बीमारियों के लक्षण एक सरीखे ही हैं। दोनों बीमारियों में लंग्स में इंफेक्शन हो जाता है। ऐसे में यदि किसी को अस्थमा के लक्षण दिखाई देते हैं तो तुरंत अपने डॉक्टरों से सलाह लेनी चाहिए। अस्थमा रोगी को किसी भी कोरोना संक्रमित के संपर्क में आने से बचना चाहिए। यहां तक कि यदि किसी को निमोनिया हो जाता है तो कोरोना की जांच भी आवश्यक रूप से करवा लेनी चाहिए।
इस समय अस्थमा रोगियों को डॉक्टर की सलाह से उचित दवाई लेना चाहिए कोशिश करना चाहिए के कफ या सर्दी छाती में जमा ना हो।खाने पीने का भी विशेष ध्यान रखना चाहिए चीजें जैसे बेकरी प्रोडक्ट , ठंडी कोल्ड ड्रिंक,काकड़ी,डिब्बा बंद खाद्य सामग्री का उपयोग नहीं करना चाहिए।बल्कि प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने के लिए गर्म पानी पीना चाहिए,खाने के तुरंत बाद सोना नहीं चाहिए।खाने में लहसुन,अदरक, लौंग, दालचीनी आदि गरम मसाले जिससे इम्युनिटी बड़े इस्तेमाल करना चाहिए जिससे कोरोना के खिलाफ प्रतिरोधी क्षमता बड़े।